असाध्य रोग में मिलेंगे 10 लाख, हजारीबाग में मिलेगी जमीन की रसीद, हेमंत सरकार का फैसला।

असाध्य रोग में मिलेंगे 10 लाख, हजारीबाग में मिलेगी जमीन की रसीद, हेमंत सरकार का फैसला।

बुधवार को मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से जारी विज्ञप्ति में बताया गया कि हजारीबाग जिला में जमीन की रसीद निर्गत करने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दे दी गयी है। असाध्य रोग में सहायता राशि होगी 10 लाख रुपये मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Jharkhand CM Hemant Soren) ने मुख्यमंत्री गंभीर बीमारी उपचार योजना के तहत प्रभावित व्यक्तियों की चिकित्सा के लिए विभागीय स्तर से चिकित्सा सहायता अनुदान की राशि 5 लाख रुपये को बढ़ाकर 10 लाख रुपये कर दी गयी है। पूर्व से स्वीकृत असाध्य रोगों की सूची में कुछ अन्य असाध्य रोगों को भी सूचीबद्ध किया जायेगा। 

जरूरतमंदों को मिलेगी मदद 

झारखंड के मुख्यमंत्री ने कहा कि असाध्य रोगों के इलाज के लिए पूर्व में दी जा रही 5 लाख रुपये की राशि पर्याप्त नहीं है।  इसलिए इसमें वृद्धि की जाये।  अब इस राशि को दुगना कर दिया गया है।  अब सभी जरूरतमंदों को असाध्य रोग के इलाज में काफी मदद मिलेगी। 

हजारीबाग के लोगों को मिलेगी जमीन की रसीद

हेमंत सोरेन सरकार ने हजारीबाग नगरपालिका द्वारा अब तक उपभोग किये जा रहे जमींदारी अधिकारों (Intermediary Rights) को बिहार भूमि सुधार अधिनिमय, 1950 के प्रावधानों एवं अपर मुख्य सचिव, राजस्व, निबंधन एवं भूमि सुधार विभाग की अध्यक्षता में दिनांक 21.06.2022 को हुई बैठक में अभिलेखों के हस्तांतरण के दिये गये निर्देशों के अनुसार राज्य सरकार में निहित (Vest) किये जाने के प्रस्ताव को स्वीकृति दे दी। 

हजारीबाग शहर के निवासियों को हो रही थी परेशानी
हजारीबाग शहर की करीब आधी भूमि का राजस्व रसीद हजारीबाग नगरपालिका द्वारा निर्गत किया जाता था।  वर्ष 2011-12 में तत्कालीन एसडीओ ने इस प्रक्रिया पर रोक लगा दी।  तब से जमीन की खरीद-बिक्री, म्यूटेशन आदि में लोगों को परेशानी होती थी।  जिला प्रशासन के पास भी रसीद निर्गत करने का अधिकार नहीं था। इसकी वजह से समस्या जटिल होती जा रही थी। 

झारखंड विधानसभा में कई बार पूछे गये थे सवाल

इस बाबत कई बार झारखंड विधानसभा में सवाल पूछे गये। कई जनप्रतिनिधियों और स्थानीय लोगों ने इस समस्या के निराकरण की मांग की।  लेकिन, समाधान नहीं हुआ।  हेमंत सोरेन ने मामले की जानकारी मिलने के बाद रसीद निर्गत करने की प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए राजस्व विभाग से संबंधित इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। 

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